Jharkhand DGP:झारखंड पुलिस की कार्यप्रणाली को सुधारने के लिए डीजीपी अनुराग गुप्ता ने कड़ा रुख अपनाया है। उन्होंने ऐसे पुलिस अधिकारियों और कर्मियों की पहचान शुरू कर दी है जो भ्रष्टाचार या आपराधिक गतिविधियों में संलिप्त रहे हैं। इस संबंध में उन्होंने सभी डीआईजी को पत्र भेजकर निर्देश दिया है कि एक सप्ताह के भीतर ऐसे अधिकारियों की पूरी रिपोर्ट प्रस्तुत करें, जिनका संबंध भू-माफियाओं या अपराधियों से रहा हो या जो अक्सर ड्यूटी से अनुपस्थित रहते हों। इस आदेश के बाद पुलिस विभाग में हड़कंप मच गया है।
डीजीपी को हाल ही में हंटरगंज थाना प्रभारी मनीष कुमार के खिलाफ भ्रष्टाचार की शिकायत मिली थी। उनका मानना है कि ऐसे भ्रष्ट अधिकारी न केवल पुलिस की छवि खराब करते हैं बल्कि आम जनता के प्रति उनके व्यवहार पर भी असर डालते हैं। इस अभियान के जरिए पुलिस को अधिक जवाबदेह और अनुशासित बनाने की कोशिश की जा रही है।
किन अधिकारियों पर होगी कार्रवाई?
भ्रष्टाचार और अनुशासनहीनता में लिप्त अधिकारी जिन पर आम लोगों या महिलाओं से दुर्व्यवहार का आरोप लगा हो,और जिनका व्यवहार वरिष्ठ अधिकारियों के प्रति अनुशासनहीन रहा हो। जिन पुलिसकर्मियों की अपराधियों और माफिया से संबंध का पता चलेगा और जिनका संबंध भू-माफिया या अपराधियों से रहा हो ,जो पुलिस विभाग के नियमों का उल्लंघन करते रहे हैं,और ड्यूटी के दौरान लापरवाही और अनुचित आचरण रखते हों,वे जो शराब पीने की आदत से प्रभावित हैं, ऐसे पुलिसकर्मियों पर कठोर कारवाई की जाएगी |डीजीपी का यह सख्त फैसला पुलिस महकमे में पारदर्शिता और अनुशासन लाने के लिए एक बड़ा कदम माना जा रहा है।