Bihar News: बिहार के भागलपुर जिले में परिवार नियोजन के उपायों को लोगों तक पहुंचाने में मिली-जुली स्थिति देखने को मिली है। हाल ही में 17 से 29 मार्च 2025 तक चले परिवार नियोजन पखवाड़े के नतीजों ने दिखाया कि जिला कंडोम वितरण में तो बिहार में नंबर वन रहा, लेकिन नसबंदी, गर्भनिरोधक गोली, इंजेक्शन और कॉपर-टी जैसे उपायों में काफी पीछे रह गया। यह स्थिति जनसंख्या नियंत्रण के लिए चुनौती बन रही है।
पखवाड़े में बिहार का लक्ष्य था 46,84,350 कंडोम बांटने का, लेकिन पूरे राज्य में 32,66,534 कंडोम बंटे, जो 70% उपलब्धि है। वहीं, भागलपुर ने कमाल कर दिखाया। जिले को 1,21,750 कंडोम बांटने का लक्ष्य मिला था, लेकिन यहां 2,50,893 कंडोम बांटे गए, यानी 206% उपलब्धि। इस शानदार प्रदर्शन ने भागलपुर को बिहार में पहला स्थान दिलाया।
भागलपुर (206%)
मुंगेर (151%)
पूर्वी चंपारण (118%)
लखीसराय (116%)
जहानाबाद (114%)
नसबंदी में निराशाजनक प्रदर्शन
कंडोम वितरण में भले ही भागलपुर ने बाजी मारी, लेकिन नसबंदी और बंध्याकरण के मामले में यह जिला फिसड्डी साबित हुआ है।
महिला बंध्याकरण: बिहार में 67,260 का लक्ष्य था, जिसमें 28,048 महिलाओं ने बंध्याकरण कराया। भागलपुर को 2,010 का लक्ष्य मिला, लेकिन सिर्फ 1,258 महिलाओं की नसबंदी हुई (41% उपलब्धि)। इस मामले में जिला 15वें स्थान पर रहा।
टॉप 5 जिले: पश्चिम चंपारण (82%), मधेपुरा (77%), अररिया (76%), बांका (69%), वैशाली (69%)।
पुरुष नसबंदी: हालत और खराब रही। भागलपुर को 100 पुरुषों की नसबंदी का लक्ष्य मिला, लेकिन सिर्फ एक पुरुष ने नसबंदी कराई। इससे जिला 30वें स्थान पर खिसक गया।
टॉप 5 जिले: शेखपुरा (68%), वैशाली (45%), अरवल (34%), बांका (33%), नवादा (29%)